कोटा। भ्रष्टाचार निरोधक ब्यूरो (ACB) कोटा टीम ने एक बड़ी कार्रवाई में हैंडलूम इंस्पेक्टर, चार्टर्ड अकाउंटेंट (CA) और उसके सहायक को 16,500 रुपये की रिश्वत लेते हुए रंगे हाथों गिरफ्तार किया है। यह घूस प्रधानमंत्री रोजगार गारंटी योजना (Prime Minister Employment Guarantee Scheme) के तहत 10 लाख रुपये के लोन की फाइल को अप्रूव कराने के बदले मांगी गई थी। यह ट्रैपिंग कार्रवाई गुरुवार रात 8 बजे से 11 बजे तक चली, जिसमें एसीबी टीम ने तीनो को गिरफतार कर लिया।
एसीबी के एडिशनल एसपी विजय स्वर्णकार ने बताया कि परिवादी ने ब्यूरो को शिकायत दर्ज करवाई थी कि प्रधानमंत्री रोजगार गारंटी योजना (PMEGS) के तहत उद्योग स्थापित करने के लिए उन्होंने 10 लाख रुपये का लोन आवेदन किया था। फाइल को जिला उद्योग केंद्र से मंजूर कराने के बदले हैंडलूम इंस्पेक्टर महेंद्र सिंह राजावत और उसकी सहयोगी वीनस माहेश्वरी ने 18 हजार रुपये रिश्वत की मांग की थी।
शिकायत के बाद ऐसे हुई कार्रवाई
शिकायत मिलने के बाद ACB Special Unit के एएसपी मुकुल शर्मा के नेतृत्व में शिकायत की सत्यापन किया गया। सत्यापन में शिकायत सही पाई गई, जिसके बाद पुलिस निरीक्षक अनीता आर्य और उप निरीक्षक ताराचंद की टीम ने ट्रैपिंग की योजना बनाई। रात के समय इस टीम ने सभी आरोपी, जिनमें सीए वीनस माहेश्वरी, उसका सहायक समीर अली, और हैंडलूम इंस्पेक्टर महेंद्र सिंह राजावत (CA Venus Maheshwari, her assistant Sameer Ali, and handloom inspector Mahendra Singh Rajawat) शामिल थे, को रंगे हाथों पकड़ लिया।
एसीबी ने परिवादी को बुधवार को वीनस माहेश्वरी के पास भेजा, जहाँ उसने लोन फाइल को आगे बढ़ाने के लिए 18 हजार रुपये की मांग की। उसने यह भी कहा कि इस फाइल से उसे ढाई लाख रुपये की छूट भी दिलवा देगी। गुरुवार सुबह, एसीबी टीम के निर्देश पर परिवादी ने सीए के ऑफिस में 8 हजार रुपये दिए, जो उसने स्वीकार कर लिए।
शाम को, परिवादी एसीबी टीम के साथ 10 हजार रुपये लेकर इंद्रविहार स्थित सीए के ऑफिस पहुँचा। सीए ने पैसे लिए और फिर हैंडलूम इंस्पेक्टर को बुलाया, जो 10 हजार रुपये रिश्वत लेते हुए पकड़ा गया। एसीबी टीम ने जैसे ही संकेत दिया, वैसे ही तीनों आरोपियों को गिरफ्तार कर लिया गया।
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गिरफ्तारी के बाद एसीबी टीम ने आरोपियों से पूछताछ की। सीए वीनस माहेश्वरी ने हैंडलूम इंस्पेक्टर महेंद्र सिंह के लिए रिश्वत मांगे जाने की बात स्वीकार की। एसीबी टीम ने सीए के सहायक समीर अली की तलाशी ली, जिसके पास से 6,500 रुपये बरामद हुए। समीर ने बताया कि उसने 1,500 रुपये पहले ही खर्च कर दिए थे।