बाड़मेर। राजस्थान के बाड़मेर में जिला कलेक्टर टीना डाबी एक बार फिर से सुर्खियों में हैं, और इस बार उन्होंने सरकारी डॉक्टरों की लापरवाही पर शिकंजा कसते हुए सख्त कार्रवाई की है। ड्यूटी समय के दौरान डॉक्टरों के निजी क्लीनिक पर मरीज देखने की शिकायतों को गंभीरता से लेते हुए उन्होंने बिना सूचना दिए कई क्लीनिकों का निरीक्षण किया। जांच में दो सरकारी चिकित्सक, डॉ. महेंद्र चौधरी और डॉ. रमेश कटारिया, अपनी ड्यूटी के वक्त निजी क्लीनिकों में मरीज देखते पाए गए, जिसे लेकर कलेक्टर ने कड़ी फटकार लगाई और त्वरित कार्रवाई के आदेश दिए।
दरअसल, जिला मेडिकल कॉलेज के अस्पताल के सरकारी चिकित्सकों की ड्यूटी टाइम में निजी क्लिनिकों पर मरीज देखने की शिकायत (Complaint about seeing patients at private clinics during duty hours) मिल रही थी। जिला कलेक्टर टीना डाबी (District Collector Tina Dabi ) ने गुरुवार को कई निजी क्लिनिकों पर पहुंच जांच-पड़ताल की। कार्रवाई की भनक लगने पर कई चिकित्सक क्लीनिक छोड़कर रफूचक्कर हो गए।
जिला कलेक्टर IAS टीना डाबी ने शहर के नेहरू नगर में कई क्लिनिकों की जांच-पड़ताल की। इस दौरान जिला अस्पताल के दो चिकित्सक अस्पताल समय के दौरान अपने क्लीनिक पर मरीज देखते मिले। जिसके बाद जिला कलेक्टर ने दोनों ही चिकित्सकों को जमकर फटकार लगाई। कलेक्टर ने जिला अस्पताल में अधीक्षक कार्यालय पहुंचकर जिला अस्पताल के विभिन्न विभागों के कार्मिक उपस्थिति रजिस्टर को मंगवाकर जांच की।
डाबी ने बताया कि जिला अस्पताल के डॉक्टर्स की शिकायत मिली थी कि ड्यूटी टाइम में वे निजी क्लीनिक में मरीजों देखते हैं। इस शिकायत पर प्रशासन की टीमों ने अलग-अलग जगह पर जांच-पड़ताल की। उन्होंने बताया कि कार्रवाई के दौरान डॉ महेंद्र चौधरी और डॉ रमेश कटारिया अपने क्लीनिक पर मरीज देखते मिले। इस संबंध में अस्पताल की अधीक्षक को आवश्यक कार्रवाई के निर्देश दिए गए हैं।
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इस दौरान अस्पताल में उपस्थिति रजिस्टर मंगवा कर उसकी भी जांच की गई। जिसमें कई कॉलम खाली मिले, इसको लेकर भी जांच करवाई जाएगी। उन्होंने कहा कि आज कार्रवाई की भनक लगने पर मौके पर नहीं मिले हैं, उन पर भी प्रशासन की नजर है। टीना डाबी ने साफ शब्दों में कहा कि सरकारी डॉक्टरों को ड्यूटी के समय अस्पताल में रहना आवश्यक है और जो ऐसा नहीं करेंगे, उनके खिलाफ सख्त कदम उठाए जाएंगे।