टोंक/उनियारा/देवली, (शिवराज बारवाल/मुजम्मिल सारण)। राजस्थान के टोंक में प्रतिष्ठित बीड़ी कारोबारी (Reputed Beedi trader in Tonk, Rajasthan) के यहां बुधवार अल सुबह 4 से 5 बजे करीब से टोंक मुख्य फैक्ट्री गोदाम, ऑफिस और उनियारा व देवली ब्रांच सहित 27 ठिकानों पर आयकर विभाग (IT) जयपुर की टीम एक साथ करीब 50 गाड़ियों में 150 अधिकारियों (150 officers in 50 trains) व कर्मचारियों के काफिले के साथ पहुंची। income tax department की टीम के द्वारा अचानक की गई कार्यवाही से बीड़ी फर्म से जुड़े कारोबारियों में हड़कंप (Stir in businessmen associated with beedi firm) मच गया। टोंक शहर में इतने बड़े स्तर की कार्यवाही को देखकर शहर के लोग एकदम से आश्चर्यचकित रह गए। कार्यवाही सूबह से कौतूहल का विषय बनी हुई है।
इनकम टेक्स डिपार्टमेंट (income tax department) की टीम को देखकर शहर के लोग सुभाष बाजार व पुरानी टोंक के बीड़ी कारोबारी के ठिकानों पर इस कार्यवाही को देखने के लिए दिनभर भारी भीड़ के साथ इधर-उधर चक्कर लगाते नजर आए। कार्यवाही के मामले को लेकर आयकर विभाग की टीम ने मीडिया को कोई अधिकारिक जानकारी नहीं दी है, लेकिन जिस तरह एक साथ इतने बड़े स्तर पर आयकर विभाग की कार्यवाही देखने को मिली उससे अंदाजा लगाया जा सकता है कि आयकर विभाग को बीड़ी कारोबार में टैक्स चोरी से संबंधित कोई खामी जरूर मिली है, जिसके चलते बुधवार की अलसुबह करीब 4 से 5 करीब एक साथ आयकर विभाग के 150 अधिकारी-कर्मचारी करीब 50 कारों में सवार होकर आए और टोंक शहर के बीडी कारोबारी के फैक्ट्री, गोदाम, ऑफिस, आवास सहित उनियारा व देवली शहर स्थित ब्रांच पर घेराबंदी के साथ दबिश देकर बुधवार देर शाम समाचार लिखे जाने तक सर्वे कार्यवाही जारी थी।

आयकर विभाग के अधिकारी भी बीड़ी फर्म के ठिकानों पर रखे रिकॉर्ड को सुबह से देर शाम तक दिनभर लगातार खंगालते नजर आए। लेकिन अभी तक फर्म में किसी भी तरह की कोई खामियां मिली है या नहीं, इसकी अधिकृत जानकारी आयकर विभाग टीम की ओर से सामने नहीं आई है। वहीं जानकारी में आया है कि आयकर विभाग जयपुर से आई आयकर विभाग की टीम द्वारा यह कार्यवाही गुरूवार तक चलने की संभावना बताई जा रही है। वहीं बीड़ी फर्म मालिक के पुरानी टोंक स्थित आवास के बाहर कार्यवाही के दौरान भारी मात्रा में सुरक्षाकर्मी तैनात किए गए। वहीं कार्यवाही को देखकर शहर के लोगों में भी दिनभर कई तरह की चर्चाएं होती नजर आई।
वहीं गौरतलब हैं कि ईद मोहम्मद निजामुद्दीन बीड़ी फर्म (Eid Mohammed Nizamuddin Beedi Firm)के कारोबारी का परिवार कांग्रेस पृष्ठभूमि से जुड़ा हुआ है, फर्म के मालिक स्वर्गीय निजामुद्दीन के बड़े बेटे स्वर्गीय मोहम्मद अजमल भी दो बार कांग्रेस की सीट से नगर परिषद के चेयरमैन रह चुके हैं। इसलिए उच्च स्तर के इशारे पर यह इतनी बड़ी कार्यवाही हथियार लेस सुरक्षा के बीच देखी जा रही हैं।
गौरतलब है कि ईद मोहम्मद निजामुद्दीन फर्म पर दो से तीन तरह के अलग-अलग ब्रांड की बीड़ी बनती हैं। इस फर्म पर चांद तलवार घमला छाप बीड़ी, विक्टोरिया नंबर 203 बीड़ी व दो भाई बीड़ी (Chand Talwar Ghamla Chap Beedi, Victoria No. 203 Beedi and Do Bhai Beedi) आदि के नाम से टोंक जिले सहित प्रदेश के कई जिलों में मिलती हैं। वहीं फर्म का कारोबार मध्यप्रदेश, मुम्बई सहित देश के अन्य राज्यों में भी संचालित हैं, जहां भी रेड की जानकारी सामने आई हैं।
जानकारी के अनुसार ईद मोहम्मद निजामुद्दीन बीड़ी फर्म करीब चार से पांच दशक से बीड़ी के कारोबार में सक्रिय हैं। जिसकी शुमारी बड़े बीड़ी कारोबारियों में की जाती है, जहां करीब एक से डेढ़ दशक पहले तक करीब 1000 मजदूर बीड़ी बनाने का काम करते थे। फिर फर्म के मालिक मोहम्मद निजामुद्दीन की मौत के बाद फर्म ने ज्यादातर बीड़ी लोगों द्वारा कॉन्ट्रैक्ट बेस पर बनवाने लगे। कोरोनाकाल में उनके बड़े बेटे नगर परिषद टोंक के पूर्व चेयरमैन रहे मोहम्मद अजमल का भी निधन हो गया हैं। अब उनकी फर्म को मोहम्मद निजामुद्दीन के छोटे पुत्र मोहम्मद मोइन संभाल रहे हैं।
150 करोड़ का लग्जरी बंगला खरीदकर चर्चा में आए थे
दरअसल, निजामुद्दीन ने करीब डेढ़ महीने पहले जयपुर शहर की सबसे महंगी जगह यानी सिविल लाइंस में 150 करोड़ रुपए का बंगला खरीदा था। इस बंगले की खरीदने के साथ ही वो इनकम टैक्स के रडार पर आ गए थे। इनकम टैक्स ने उनके खिलाफ इनपुट जुटाना शुरू किया और अल सूबह उनके यहां रेड की। बतादें, कुछ साल पहले आयकर विभाग ने ज्यादा टैक्स देने के लिए निजामुद्दीन को अवार्ड दिया था।