कोटा। राजस्थान के कोटा जिले में एसीबी (ACB in Kota district) ने बड़ी कार्यवाही को अंजाम देते हुए सार्वजनिक निर्माण विभाग (PWD) के अधिशासी अभियंता इलेक्ट्रिकल डिविजन (Executive Engineer Electrical Division) को 18 हजार रूपये रिश्वत की राशि लेते रंगे हाथों ट्रैप (Trap red handed taking bribe amount of 18 thousand rupees) किया है। आरोपी ने यह राशि परिवादी से फाइनल बिल पास होने (Final bill passed by the complainant) व परिवादी और उसके पुत्र की फर्म की एसीआर रिपोर्ट सही बनाने की एवज में 30 हजार रूपये की मांग (30 thousand rupees demand in lieu of making ACR report correct) कर रहा था।
ACB ने यह कार्यवाही भ्रष्टाचार निरोधक ब्यूरो कोटा रेंज के पुलिस अधीक्षक आलोक श्रीवास्तव के निर्देशन एवं अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक ठाकुर चंद्रशील कुमार के नेतृत्व में पुलिस निरीक्षक अजीत बागडोलिया द्वारा अंजाम दिया गया।
कोटा ACB के अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक ठाकुर चंद्रशील कुमार ने बताया कि परिवादी रमेश चंचलानी ने 25 मार्च को एक लिखित शिकायत पेश कर बताया कि वह PWD कोटा में एक क्लास ईडब्ल्यूएस में पंजीकृत कांट्रेक्टर है। उसने कोरोना काल में डीसी जनरेटर के कार्य किए थे जिसका भुगतान लगभग 10 लाख रूपये गौरव पथ कापरेन के स्ट्रीट लाइट का फाइनल बिल पास होने था परिवादी की फर्म और उसके पुत्र की फर्म की एसीआर रिपोर्ट सही बनाने की एवज में अवध बिहारी मकवाना अधिशासी अभियंता पीडब्ल्यूडी इलेक्ट्रिकल 30 हजार रूपये की मांग कर रहा है।
इसपर परिवादी की शिकायत के बाद एसीबी ने रिश्वत मांग का उसी दिन सत्यापन करवाया गया। जिसमें आरोपी द्वारा परिवादी से रिश्वत की मांग करते हुए 15000 सत्यापन के दौरान परिवादी से प्राप्त कर लिए तथा शेष राशि बाद में दिए जाने के लिए कहा। जिस पर आज बुधवार को दौरान ट्रैप कार्यवाही आरोपी अवध बिहारी मकवाना ने अपने कार्यालय कक्ष में परिवादी से वार्ता कर रिश्वत राशि 18000 खिड़की में लगे पर्दे के पीछे रखवाये। इशारा मिलते ही ACB ने खिड़की में रखी रिश्वत राशि बरामद की, मौके पर कार्यवाही जारी है।